सावधान! सावधान! वास्तु दोष बना सकता है आपको हत्यारा!
वास्तु यानी की सही दिशा और दशा| आवास का सही निर्माण ना होना ही वास्तु दोष होता है| आज वास्तु की तमाम पुस्तकें बाजार में उपलब्ध हैं| परंतु फिर भी हम लोग कहीं ना कहीं गलती कर बैठते हैं| कभी-कभी तो वास्तु शास्त्रियों के घरों में भी वास्तु दोष देखा जाता है|
वास्तु दोष होने पर घर-स्वामी और उसका परिवार गंभीर, मानसिक बीमारियों का शिकार बन सकता है| यह सिद्ध हो चुका है कि आपराधिक प्रवृतियों में व्यक्ति के आसपास का वातावरण और परिस्थितियां भी एक कारण बनती हैं| परंतु हमारा ध्यान आवास में वास्तु दोष होना नहीं स्वीकारता| हम यह भी स्पष्ट कर दें कि प्राचीन भारत में वास्तु के द्वारा ही बड़े बड़े महल, किले, दुर्ग, आदि का निर्माण किए जाते थे| इस विषय पर बहुत से ग्रंथ उपलब्ध हैं और उन ग्रंथों में यह दोष पढ़ने को मिल जाते हैं|
वास्तु दोष के विपरीत बनाए हुए मकान के कारण व्यक्ति हत्यारा भी बन सकता है| ईशान्य कोण कटा होना, आग्नेय (दक्षिण-पूर्व) में टॉयलेट होना या दरवाजा होना, नैऋत्य (दक्षिण-पश्चिम) कोण बड़ा खुला होना, वायव्य (पश्चिम-उत्तर) कोण पर अत्यधिक वजन होना, इसके अतिरिक्त घर के सभी कमरों का पश्चिम दिशा में बने होना और सूर्यास्त के समय सूर्य का प्रकाश घर में प्रवेश करना- है यह सभी नकारात्मक ऊर्जा प्रदान करता है|
इसके अतिरिक्त उत्तर-पश्चिम का अन्य सभी क्षेत्रों से उठा होना या फिर इसकी तुलना में नैऋत्य (दक्षिण-पश्चिम) कोण का फर्स्ट नीचा होना या ईशान (पूर्व-उत्तर) कोण में टॉयलेट होना या ईशान (पूर्व-उत्तर) कोण का बहुत ज्यादा ऊंचा होना विशेष कर हत्या और आत्महत्या जैसे दोषों को बढ़ाता है|
मुख्य दरवाजा नैऋत्य (दक्षिण-पश्चिम) कोण में हो तब ऐसा देखा गया है कि घर की स्त्रियों को दुर्घटना में मृत्यु तुल्य कष्ट संभव है| वही पुरुषों के लिए जेल, कचहरी, कोर्ट का मुकदमा आदि विवाद बने रह सकते हैं|
यह स्पष्ट कर दूं कि आग्नेय (दक्षिण-पूर्व) कोण की दीवार पर चढ़ी हुई हो तो जातक क्रोध का शिकार बन जाता है| आग्नेय (दक्षिण-पूर्व) कोण, नैत्य कोण से ऊंचा और ईशान (पूर्व-उत्तर) कोण की तुलना में नीचा हो जाए तो विवाद के फलस्वरुप हादसे में हत्या, गंभीर चोट, मारपीट के कारण कोई हादसा हो सकता है|
उत्तर वायव्य (पश्चिम-उत्तर) कोण कोण से ऊंचा और ईशान (पूर्व-उत्तर) कोण की तुलना में नीचा हो जाए या उठ जाए और क्षेत्र के फलस्वरुप अत्यधिक उठा हो तो वहां किसी महिला या कन्या संतान के साथ दुखद हादसा संभव है|